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क़ुदरत का साथ,स्वस्थ और सुरक्षित दांत
विज्ञान और कुदरत के मेल से दांत बनेंगे स्वस्थ और सुरक्षित,
प्रकृति ने हमें आधार शक्तिया प्रदान की है, जो कदम - कदम पर इस जीवन में महत्वपूर्ण साबित होती हैं। हालांकि प्रकृति की शक्तियां समझने के लिए एक गहरी समझ यानि विशेषज्ञता की जरूरत है। यहां हमारी सबसे बड़ी मदद करता है विज्ञान। जो न सिर्फ प्राकृतिक तत्वों की पहचान करता है, बल्कि उनकी शक्तियों को हमारी जरूरत के अनुसार डालने में भी मदद करता है।
विशेषज्ञों का कहना है की आयुर्वेद जैसी प्राचीन चिकित्सा प्रणाली में भी प्राकृतिक तत्वों को सेहत के लिए फायदेमंद मन गया है। प्राकृतिक तत्वों के इस्तेमाल से आयुर्वेद को पिछले हजारों वर्षों के अध्ययन ध्दारा बड़े स्तर पर विकसित किया जाता है, जिससे इसका प्रभाव कई गुना बड़ा है। इस विकास ने विज्ञान ने अहम भूमिका निभाई है। वास्तव में, आयुर्वेद एक संस्कृत शब्द है, जिसका अक्षरश: अनुवाद होता है आयुर - जीवन और वेद - विज्ञान यानि जीवन का विज्ञान।
स्वस्थ रहने के लिए कुदरती तत्वों से अधिक मददगार दोस्त कोई नहीं है। फिर चाहे बात आपके दांतो की देखभाल की क्यों ना हो। प्रकृति के गुणों का सही विशेषज्ञ भी ऐसे उत्पादों के इस्तेमाल की सलाह देते हैं जिनमें प्राकृतिक तत्वों की सही पहचान करते हुए, सही मात्रा में उनका समावेश किया गया हो।
कोलगेट अपने 80 वर्षों के अनुभव के आधार पर सिबाका वेदशक्ति को तैयार किया है। यह प्राकृतिक शक्तियों से लैस है, जो दांतो की समस्याएं दूर रखने में मदद करती हैं। इस में मौजूद है कुदरती तत्त्व और विज्ञान के सर्वश्रैष्ठ गुण, जो पुरे परिवार के दांतों का ख्याल रखते हैं। इसमें खास तौर पर लौंग, तुलसी, कपूर, नीलगिरी, अजवाइन और नींबू की गुणों को शामिल किया जाता है। यह सभी सामग्रियों अपने ढेर सारे फायदों के लिए मशहूर है - जैसे लौंग से दांतो में सडन रूकती है और नींबू से दांत चमकदार बनते है। मुँह की दुर्गध मिटाने और सांसो में ताजगी लाने के लिए कपूर फायदेमंद होता है, वही नीलगिरी दांतो पर जमी अनावश्यक परत को हटाती है और अजवाइन से मसूड़ों में कसाव आता है। इस तरह यह सभी शक्तियां मिलकर दांतो एवं मसूड़ों को स्वस्थ एवं सुरक्षित बनाती हैं और आपकी सांसो को मिलती है कुदरती ताज़गी।
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